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(स्मिता सिंह/ Smita Singh)
महानगरों की भाग-दौड़ भरे जीवन से उकताकर आप कुछ दिन सुकून के तलाशने के लिए पहाड़ों पर जाते हैं, जंगल की सैर पर निकलते हैं. लेकिन आजकल पहाड़ों पर जाना महानगरों के ट्रैफिक भरे जीवन से भी ज्यादा दुष्कर हो गया है. क्योंकि जिधर देखों उधर ही गाड़ियों की लंबी-लंबी कतारें लगी दिखाई देती हैं. काला धुआं उगलती गाड़ियां और लोगों की भीड़ के चलते अब तो पहाड़ भी प्रदूषण से सने दिखलाई देते हैं. ऐसे में समस्या आती है कि जाएं तो कहां जाएं?
कोई नहीं, आज हम आपको लेकर चल रहे है पॉल्यूशन फ्री हिल स्टेशन. जी हां यहां प्रदूषण बिल्कुल भी नहीं है, क्योंकि यहां गाड़ियों के इस्तेमाल की अनुमति ही नहीं है. यहां गाड़ियां नहीं चलती हैं. आप घोड़े की सवारी कर सकते हैं या फिर टॉय ट्रेन का मजा ले सकते हैं. अगर आपको प्रकृति से प्यार है तो आप यहां आए बिना रह नहीं सकते. इस जगह को भारत का सबसे छोटा हिल स्टेशन भी कहा जाता है. ये महाराष्ट्र के टॉप हिल स्टेशनों में से एक माथेरान है.
महाराष्ट्र में लोनावाला, खंडाला, पंचघनी, महाबलेश्वर वगैरह तमाम जगहों के बारे में आपने सुना होगा, हो सकता है कि आप घूम भी चुके हों लेकिन माथेरान इन सबसे बिल्कुल अलग है. यहां आपको एक अलग-सी शांति और सुकून का एहसास होगा. हरे-भरे जंगल, पहाड़ों के बीच तेज आवाज के साथ गिरते झरने, यहां की खूबसूरती हर किसी को अपनी ओर खींचती है. माथेरान है तो छोटा-सा हिल स्टेशन, लेकिन यहां से आप बहुत सारी यादें साथ लेकर आएंगे. थोड़ी-सी होशियारी और जरा-सी सावधानी में आप बिल्कुल कम बजट में माथेरन का अच्छा ट्रिप बना सकते हैं.
इस आर्टिकल को ध्यान से पढ़ें ताकि हमने जो इस ट्रिप में गलती की है और पैसे बर्बाद किए हैं वो आप न करें और कम बजट में बढ़िया ट्रिप का आनंद ले सकेंगे. हम बताएंगे आपको माथेरान जाने के लिए एक सस्ता और बेहतरीन तरीका, जो आपको किसी और ने नहीं बताया होगा. क्योंकि जब आप माथेरान आते हैं तो तीन किलोमीटर पहले ही आपकी गाड़ी रुक जाएगी. आगे का सफर आपको घोड़े से तय करना होगा. या फिर आप पैदल ही घूमते हुए कुदरत के खूबसूरत नजारों का आनंद लेते हुए आगे बढ़ सकते हैं. घोड़े का किराया ज्यादा हो जाता है. घोड़े की सवारी 2000 से 2500 रुपये के बीच बैठती है. यहां ट्रेकिंग करवाने वाले कुछ लोग तो टूरिस्ट को इतना डरा देते हैं कि आप माथेरान तो ऐसे पहुंच ही नहीं सकते, घना जंगल है, रास्ता पता नहीं चलेगा, वगैरह-वगैरह. लेकिन आप अगर सही से ट्रिप प्लान करें तो महज 35 रुपये में गाड़ी पार्किंग स्थल से माथेरान जा सकते हैं. तो आइए साथ में चलते हैं माथेरन की यात्रा पर…
महाराष्ट्र के पश्चिमी घाट पर सह्याद्रि श्रेणी के बीच स्थित माथेरान एक छोटा-सा हिल स्टेशन है. भारत के पश्चिमी तट पर स्थित पर्वत शृंखला को पश्चिमी घाट या सह्याद्रि कहते हैं. माथेरान समुद्र तल से 2600 फीट की ऊंचाई पर है. माथेरान हिल स्टेशन मुंबई से केवल 100 किलोमीटर की दूरी पर है.
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माथेरान उन गिनी-चुनी जगहों में से एक है जहां खतरनाक रास्ते होने के कारण गाड़ी ले जाने की इजाजत नहीं है. यहां घूमने के लिए आपको टॉय ट्रेन से जाना होता है. ये टॉय ट्रेन ऊंचे पहाड़ों के किनारे बेहद कठिन रास्तों से होकर गुजरती है. जिसमें आपको बहुत मजा आएगा. आप घोड़े की सवारी भी कर सकते हैं.
आप मुंबई लोकल से नेरल स्टेशन पहुंच सकते हैं और वहां नेरल-माथेरान टॉय ट्रेन से माथेरान पहुंचा जा सकता है. आपको नेरल माथेरान टॉय ट्रेन को बिल्कुल मिस नहीं करना चाहिए. नेरल माथेरान टॉय ट्रेन एक विरासत रेलवे है जो नेरल को माथेरान से 21 किलोमीटर की रेलवे लाइन से जोड़ती है. यह 1900 की शुरुआत में आदमजी पीरभॉय द्वारा निर्मित दो फीट की नैरो गेज रेलवे है जिसे मध्य रेलवे द्वारा चलाया जाता है.
अगर आप अपनी गाड़ी से जा रहे हैं तो आपको माथेरान से 3 किलोमीटर पहले ही दस्तूरी प्वाइंट पर बनी पार्किंग में गाड़ी खड़ी करनी होगी. यहां से आगे गाड़ी जाने की इजाजत नहीं है. यहां से टूरिस्ट को पैदल, पालकी या घोड़े की सवारी करते हुए करीब तीन किलोमीटर की दूरी तय करनी होती है. आप चाहें तो वहां से टॉय ट्रेन ले सकते हैं. पार्किंग के पास ही टॉय ट्रेन का एक स्टेशन है अमन लॉज. यहां से माथेरान पहुंचने में 15-20 मिनट लगते हैं. माथेरान में बहुत सारी ऐसी जगह हैं जहां लोग घूमने जाते हैं. अगर आप अपना ट्रिप अच्छी तरह से प्लान करें तो बहुती ही कम बजट में बहुत मस्ती कर सकते हैं.
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दस्तूरी प्वाइंट से ही आपको ई-रिक्शा भी मिल जाता है जो कि सिर्फ 35 रुपये में आपको माथेरान ले जाएगा. आप सिर्फ 35 रुपये में आप माथेरान हिल स्टेशन पहुंच सकते हैं. जब आप पार्किंग स्थल पर पहुंचेंगे तो आपको 50 रुपये की एंट्री टिकट लेनी होती है. ये प्रवेश शुल्क सभी के लिए है. चाहे आप घोड़े से जा रहे हो या फिर टॉय ट्रेन से या फिर ट्रेकिंग करते हुए.
माथेरान में रुकने के लिए बहुत सारे ऑप्शन हैं. होटल, लॉज और विला भी. हर बजट के होटल मिल जाएंगे. आप कोशिश करें कि 10-11 बजे तक माथेरान पहुंच जाएं. होटल में चेक-इन करें और सामान रखकर फिर घूमने निकलें. इससे आपकी ट्रैकिंग भी हो जाएगी और पहाड़ों की खूबसूरती को भी अच्छे से निहार पाएंगे. माथेरान ढ़ाई से तीन किलोमीटर में फैला है, जहां आप आसानी में टहलते हुए पूरे इलाके को घूम सकते हैं. यहां आपको बादलों से घिरे पहाड़ और पहाड़ों से गिरते झरने, खूबसूरत झील, पार्क और तमाम व्यू प्वाइंट्स देखने को मिलेंगे. यहां मौसम भी काफी अच्छा रहता है. माथेरान में घूमने के लिए शार्लोट झील, मंकी प्वाइंट, इको प्वाइंट, लुइसा प्वाइंट सहित कई सारे टूरिस्ट प्वाइंट हैं.
लुइसा प्वाइंट माथेरन के सबसे मशहूर पर्यटन स्थल है. इस जगह को पर्यटक सबसे ज्यादा पसंद करते हैं. लुइसा प्वाइंट आप ट्रैकिंग करते हुए डेढ़ किलोमीटर का रास्ता आसानी से पार कर सकते हैं. यहां का खूबसूरत नजारा और ठंडी-ठंडी हवाएं आपकी सारी थकान दूर कर देती हैं.
शार्लोट या फिर चार्लोट झील माथेरान के सबसे शानदार आकर्षणों में से एक है. यह उन लोगों के लिए एक आदर्श स्थान है, जो प्रकृति की गोद में शांति से बैठना चाहते हैं. घने जंगलों के बीच यहां आसमान में पंख फैलाकर हवा में गोते लगाते हुए पक्षियों का आनंद ले सकते हैं. झील के एक तरफ पिशरनाथ महादेव नाम से भगवान शिव का एक पुरातन मंदिर भी. माथेरान का मंकी प्वाइंट ऊंचे-ऊंचे पहाड़ों और गहरी घाटियों के सुंदर दृश्यों के बीच मौजूद है. जैसा कि नाम से पता चलता है, इस जगह पर अक्सर बंदरों के झुंड जमा रहते हैं. बंदरों की वजह से यहां आपको थोड़ा सावधान रहना पड़ेगा.
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Tags: Maharashtra News, Mumbai News
FIRST PUBLISHED : April 6, 2024, 16:09 IST
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